की-बोर्ड
की-बोर्ड एक पेरिफेरल जो आंशिक रूप से टाइपराइटर के की-बोर्ड की भाटी होती है। की-बोर्ड को टेक्स्ट तथा कैरेक्टर इनपुट के लिए डिज़ाइन किया जाता है साथ ही यह कंप्यूटर के ऑपरेशन को कण्ट्रोल करता है। भौतिक रूप से, कम्प्यूटर की-बोर्ड आयताकार या लगभग आयताकार बटनों या कीज़ की एक व्यवस्था होती है। कीबोर्ड में सामान्यतः कीज़ अंकित होती है अथवा छपी हुई होती हैं। अधिकतर स्थितियों में, किसी key हो दबाने पर कीबोर्ड लिखित चिह्न भेजता है। किन्तु, कुछ संकेतों को बनाने के लिए कई कीज़ साथ-साथ या एक क्रम में दबाने या पकडे रहने की आवश्यकता पड़ती है। अन्य key कोई संकेत नहीं बनाती बल्कि कम्प्यूटर अथवा की-बोर्ड के ऑपरेशन को प्रभावित करती है।
की-बोर्ड की लगभग आधी कीज़ अक्षर,संख्या या चिह्न बनाती हैं। अन्य कुंजी को दबाने पर क्रियाएँ होती हैं तथा कुछ क्रियाओं संपन्न करने के लिए एक से अधिक कुंजियों को इ साथ दबाया जाता है।
Keyboard |
Standard QWERTY की-बोर्ड कम्प्यूटर में numeric व text data enter करने का साधारण तरीका है। प्रत्येक ज्ञमल एक स्विच है जो जब दबायी जाती है तो कम्प्यूटर डिजिटल कोड भेजती है। उदाहरण के लिए "A" key दबाने पर 01100001 बायनरी कोड उत्पन्न करती है जो lower case अक्षर 'a' को प्रदर्शित करता है। इसी समय पर Shift key को दबाये रखने पर 01000001बायनरी कोड उत्पन्न करती है जो upper case later "A" को प्रदर्शित करती है।
स्पेसिलिस्ट कीबोर्ड कॉन्सेप्ट कीबोर्ड
कभी-कभी इन्हें मेम्ब्रेन या ओवरले कीबोर्ड कहा जाता है। यह वहाँ प्रयोग किये जाते हैं जहाँ fast इनपुट की आवश्यकता होती है। Selection करने के लिए प्रोग्राम किया जाता है।
स्पेसिलिस्ट (विशिष्ट) कीबोर्ड ब्रेल कीबोर्ड
Braille ऐल्फाबेट उभरे हुए dots के चंजजमतदे दे बना होता है और इस कीबोर्ड की keys इन उभरे हुए dots साथ चिन्हित होती है जो कि अन्धो के लिए सहायक होती है।
कीबोर्ड की संरचना
कीबोर्ड के संरचना के आधार पर इसकी keys को छः भागो में बाँटा गया है -
(1)एल्फान्यूमेरिक कीज़
(2) न्यूमेरिक की-पैड
(3) फंक्शन कीज़
(4) विशिष्ट उद्देश्य कीज़
(5) मॉडिफायर कीज़
(6) कर्सर मूवमेंट कीज़
(1) एल्फान्यूमेरिक कीज़
एल्फान्यूमेरिक कीज़ की-बोर्ड के केंद्र स्थित होती है, जैसा आप किसी पारम्परिक मानवीय टाइपराइटर में देखते हैं। एल्फान्यूमेरिक कीज़ में वर्णमाला (A-Z या a-z),न्यूमेरिक अक्षर (0-9) विशेष चिह्न (~, !, @, #, $, % , ^ , &, *, ( ), _, + , |, \, =, -) होते हैं , इस सेक्शन में की-बोर्ड की कीज़ व्यवस्था को क्वेरटी (QWERTY) के नाम से जाना जाता है , क्योंकि इस सेक्शन की सबसे ऊपरी पंक्ति में क्यू. डब्ल्यू.ई. आर. टी. वाई. (Q,W,E,R,T,Y) वर्ण होते हैं। इस सेक्शन में अंकों, चिह्नों तथा वर्णमालाों के अतिरिक्त चार कीज़ TAB, CAPS LOCK, BACKSPACE तथा ENTER कुछ विशिष्ट कार्यों के लिए होती हैं।
(2) न्यूमेरिक की-पैड
न्यूमेरिक की-पेड में लगभग 17 कीज़ होती हैं जिनमें 0-9 तक के अंक, गणितीय ऑपरेटर, ऐरो कीज़ तथा कुछ विशेष की (Home. PgUp, PgDn, End, Ind, Enterतथा Del) होती हैं। विशेष कीज़ संचालक नमलॉक (NumLock) key को ऑन या ऑफ करके किया जा सकता है। यह आपके कम्प्यूटर पर कैलकुलेटर की भाँति कार्य करता है।
Numeric Keyboard |
(3) फंक्शन कीज़
की-बोर्ड के ऊपर संभवतः 12 फंक्शन कीज़ होती हैं जो F1, F2 ......... F12 द्वारा इंगित किया जाता हैं। ये कीज़ निर्देशों को शॉट-कट के रूप में प्रयोग करने में सहायक होती हैं। इन कीज़ के कार्य सॉफ्टवेयर के अनुसार बदलते रहते हैं। F1 सामान्यतः प्रयोग में आने वाले सभी सॉफ्टवेयर में सहायता के लिए होता है।
(4) विशिष्ट उद्देश्य कीज़
उन्नत किस्म के सॉफ्टवेयरों के विकास के बाद की-बोर्ड भी कई विशेष प्रकार की कीज़ के साथ उपलब्ध हो रहे हैं। ये कीज़ नये ऑपरेटिंग सिस्टम के कुछ विशेष कार्यों के अनुरूप होती हैं। उदाहरण - Sleep, Power, Volume, Start, Shortcut इत्यादि।
(5) मॉडीफायर कीज़
इसमें तीन कीज़ होती हैं जिसके नाम SHIFT, ALT(Alternate), CTRL (Control) हैं। इनको अकेला दबाने पर कोई खास प्रयोग नहीं होता है , परन्तु जब अन्य किसी key के साथ इनका प्रयोग होता है तो ये उन कीज़ के इनपुट को बदल देती हैं, (जब Caps Lock ऑफ रहता है ) तो A इनपुट C साथ करते हैं तो इसका प्रयोग कमाण्ड की तरह विषय-वस्तु (contents) को कॉपी करने में होता है। ALT का प्रयोग विंडो आधारित प्रोग्राम से मेन्यू को इनवोक करने में किया जाता है।
(6) कर्सर मूवमेंट कीज़
इसमें चार प्रकार के UP, DOWN, LEFT तथा RIGTH बटन का प्रयोग कर्सर को स्क्रीन पर मूल कराने जाता है। आप इन कीज़ को न्यूमेरिक की-पैड पर भी पा सकते हैं। इसका प्रयोग तभी किया जा सकता है , जब Numlock ऑन हो।
इसी प्रकार अन्य की-बोर्ड
1. तार रहित की-बोर्ड
तार रहित की-बोर्ड यूजर को की-बोर्ड में तार के प्रयोग से कुछ कंपनियों ने तार रहित की-बोर्ड का बाज़ार में प्रवेश कराया है। यह की-बोर्ड सीमित दूरी तक कार्य करता है। यह तार रहित की-बोर्ड से थोड़ा महँगा होता है तथा इसमें थोड़ी तकनीकी जटिलता होती है। इसमें तकनीकी जटिलता होने के कारण इसका प्रचलन बहुत अधिक नहीं हो पाया है। ज्यादातर, तार रहित की-बोर्ड के साथ एक माउस की जोड़ी बनाकर उसको रिसीवर द्वारा संचालित किया जाता है जोकि की-बोर्ड और माउस दोनों को नियंत्रित करता है। यह की-बोर्ड तार मुक्त होने के कारण लोकप्रिय होता जा रहा है।
2. ऑरगॉनॉमिक की-बोर्ड
बहुत सारी कंपनियों ने एक खास प्रकार के की-बोर्ड का निर्माण किया है, जो यूजर को टाइपिंग करने में दूसरे पारम्परिक की-बोर्ड की अपेक्षा अधिक आराम देते हैं। ऐसे की-बोर्ड विशेष तौर पर यूजर की कार्य क्षमता बढ़ाने के साथ-साथ लगातार टाइपिंग करने के कारण उत्पन्न होने वाले कलाई (wrist) के दर्द को काम करने में सहायक होते हैं।
ऑरगॉनॉमिक की-बोर्ड |
3. गेमिंग की-बोर्ड
गेमिंग की-बोर्ड भी संरचना में साधारण की भाँति ही होते हैं , परन्तु इसमें प्रदीप्ति की , मल्टीमीडिया की , एल.सी.डी स्क्रीन आदि अतिरिक्त गुण उपलब्ध होते हैं।
Gaming keyboard |
4. लैपटॉप की-बोर्ड
यह की-बोर्ड साधारण की-बोर्ड सामान ही होता है, परन्तु इसमें कुछ अतिरिक्त बटन जैसे-पावर बटन, प्ले बटन, म्यूट बटन आदि होते हैं।
टिप्पणियाँ
एक टिप्पणी भेजें